बाल-मंदिर परिवार

हमारे सम्मान्य समर्थक

सोमवार, 18 जुलाई 2011

खेल करो जी -उदय किरोला


बाल कविता : उदय  किरोला 
खेल करो जी  खेल करो ,
आपस में सब मेल करो . 
जीत - हार का होता खेल , 
आपस में तुम रखना मेल . 
यदि जीतो तो ख़ुशी मनाओ , 
हारो भी तो मत पछताओ . 
मत करना जी ठेलम ठेल . 
मिलकर सदा खेलना खेल , 
खेल करो जी  खेल करो ,
आपस में सब मेल करो . 
मेल करो जी मेल करो , 
खेल करो जी  खेल करो ,
उदय  किरोला 
जन्म : 12 मार्च ,1960, कलौटिया ,द्वाराहाट 
शिक्षा : एम्. ए. {हिंदी,समाज शास्त्र  }; एम्. काम
प्रकाशित बाल कविता संग्रह : मीठे जामुन
 संपर्क : संपादक 'बाल प्रहरी ' , जाखन देवी , अल्मोड़ा -उत्तराखंड
==========
चित्र में : किरोला जी के साथ है सृजन 

1 टिप्पणी:

टिप्पणी के लिए अग्रिम आभार . बाल-मंदिर के लिए आपके सुझावों/ मार्गदर्शन का भी सादर स्वागत है .